मंगलवार, अप्रैल 06, 2010

प्राधिकृत कर्मचारियों का प्रशिक्षण एवं सामग्री वितरण आज

प्राधिकृत कर्मचारियों का प्रशिक्षण एवं सामग्री वितरण आज

भिण्ड  5 अप्रैल 2010

       सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी कृषि मण्डी भिण्ड ने बताया कि मण्डी समिति भिण्ड में कृषक एवं व्यापारी मतदाता सूचियों में दावा आपत्तियॉ प्राप्त करने हेतु जनपद पंचायत अटेर एंव भिण्ड के सभी सचिव तथा कृषि विभाग के ग्रामीण विस्तार अधिकारियों और पटवारियों सहित 160 कर्मचारियों को संबर्द्व किया गया है। प्राधिकृत कर्मचारियों का प्रशिक्षण एवं सामग्री वितरण कार्य 6 अप्रैल को प्रात:11 बजे से डाईट भवन भिण्ड में होगा। सबंर्द्व किये गये कर्मचारियों को प्रशिक्षण में समय पर उपस्थित होने के निर्देश दिये गये है।

 

चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम में जलाभिषेक अभियान शुरू , जल स्रोतो को पुर्नजीवित करने ग्रामीणों को दिलाई शपथ

चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम में जलाभिषेक अभियान शुरू

जल स्रोतो को पुर्नजीवित करने ग्रामीणों को दिलाई शपथ

भिण्ड 5 अप्रैल 2010

       कलेक्टर रघुराज राजेन्द्रन के निर्देशन में भिण्ड जिले में जलाभिषेक अभियान की शुरूआत सोमबार को भिण्ड विकास खण्ड के ग्राम चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम से की गई। इस अवसर पर जलाभिषेक अभियान की आवधारणा को जन जन तक पहुचाने  और इस अभियान को लोगों को आने आने और उन्हें जागरूक बनाने के लिए  तथा जल स्रोतों को पुर्नजीवित करने ग्रामीणों को शपथ दिलाई गई। ग्राम चंदूपुरा में अपर कलेक्टर छोटे सिंह की अगवाई में और ग्राम बाराकला में एसडीएम डीआर कुर्रे की अगुवाई में जलाभिषेक अभियान की गतिविधियॉ शुरू हुई।

       अपर कलेक्टर छोटे सिंह ने चंदूपुरा के ग्रामीणों को जलाभिषेक अभियान के उद्देश्य पर जानकारी देते हुये बताया कि गिरते भू जल स्तर के लिए  जरूरी है कि वर्षा के जल को भू गर्भ में पहुंचाएं जिसके लिये जरूरी है कि ग्राम के सूखे पडे तालाब के नाले  एवं नदियों तथा जलस्रोतों को गहरा किया जाए। इस अभियान को जल सहभागिता के आधार पर करने के लिए ग्राम में निवास करने वाले सभी लोगों का सहयोग जरूरी है। आपने किसानों को खेत पर मेढ बनाने और ग्राम के सार्वजनिक तालाब को गहरा कराने पर जोर दिया। इसीतरह घरेलू उपयोग के पानी की निकासी के लिए घरों के पास सोख्ता गड्डा बनाने पर जोर दिया।

ग्रीष्म में खेतों की गहरी जुताई करें

अपर कलेक्टर छोटे सिंह ने कृषकों को बताया कि ग्रीष्मकाल में खेत को 6 से लेकर 9 इंच तक गहरी जुताई करें। इससे खरपतवार कम होगी और उत्पादन क्षमता में वृद्वि होने के साथ साथ वर्षा के पानी को जमीन में पहुंचाने में मदद मिलेगी। खेतों की जुताई नही होने से मिट्टी में गहरी दरारे पडती है जिसके चलते वर्षा का पहला पानी जमीन में न जाकर बह जाता है। खेतों की गहरी जुताई करने से मिलने वाली फसल में लगभग 25 से 30 प्रतिशत उत्पादन बढती है। आपने कृषकों को सलाह दी ऐसे बडे कृषक जिनके पास 5 हैक्टेयर तक कृषि भूमि है वे पूरी भूमि की गहरी जुताई कराए और ऐसे छोटे छोटे कृषक जिनके पास में कम कृषि भूमि है वे भी भूमि की गहरी जुताई कराए। शासन द्वारा ग्रीष्मकाल में खेत जुताई के लिए वर्तमान में शुरू की गई योजना पर कृषकों को एक हैक्टेयर की जोत पर एक हजार रूपये की सहायता दी जाती है।

घर घर में सोख्ते गड्डे बने

       अपर कलेक्टर ने ग्रामीणों का आव्हान किया कि वे घरेलू पानी के समुचित निकासी के लिए प्रत्येक परिवार घर घर में सोख्ते गड्डे बनाए। उन्होंने कहा कि पानी के समुचित निकासी नही होने से बडी संख्या में मच्छरों का प्रकोप फैलने से मलेरिया रोग फैलता है। जिसके चलते गरीबों को कमाई का अधिकांश हिस्सा बीमारी के उपचार में व्यय करना पडता है जिससे उनकी आर्थिक स्थिति कमजोर होती है। इस समस्या से निजात के लिए जरूरी है कि प्रत्येक व्यक्ति पानी के निकासी के लिए अपने अपने घरों पर सोख्ते गड्डे बनाए। जिससे मच्छर नही फैलेगें और लोग मलेरिया से पीडित भी नही होगें।

 

शौचालय निर्माण कराने वाले प्रेरक को मिलेगें 100 रूपये

       अपर कलेक्टर ने ग्रामीणों को शौचालय निर्माण की जानकारी देते हुये बताया गया कि शौचालय विहीन परिवारों के यहां शौचालय निर्माण कराने वाले प्रेरक को प्रति शौचालय 100 रूपये की प्रोत्साहन राशि मिलेगी। कोई भी व्यक्ति प्रेरक बन सकता है। इस मौके पर ग्राम के रसीद खॉ शौचालय बनाने के लिए तैयार हुऐ। जलाभिषेक अभियान के सम्मेलन के उपरांत रसीन खॉन के यहा शौचालय निर्माण कराने के लिए गड्डा खनन की कार्यवाही शुरू हुई।

महिलाओं एवं बेटियों को शर्मसार न होने दे

       ग्रामीणों का आव्हान करते हुये कहा कि घर से बाहर दिशा मैदान के लिए महिलाओं एवं बेटियों को पुरूष बाहर नही जाने दे। वे संकल्प ले और व्यक्तिगत उपयोग के लिए घर के निकट ही शौचालय बनवाए। महिलाएं एवं बेटियों को दिशा मैदान के वक्त कई बार शर्मसार होना पडता है। परिवार का मुखिया होने के नाते पुरूषों को घर की महिला एवं बेटियों को शर्मसार नही होने देना चाहिए।

जमीन को पानी रोकने लायक बनाओं

       जल सम्मेलन में बताया गया कि जमीन को पानी रोकने लायक बनाने के लिए ग्राम के सभी कृषक भूमि को पानी रोकने लायक बनाए। जिला प्रशासन द्वारा पानी रोकने लायक बनाए गये खेतों का सर्वे कर आकलन कराया जाएगा।

बाराकला में आयोजित सम्मेलन में

       बाराकला में आयोजित सम्मेलन में डीआर कुर्रे, उप संचालक मनोज कश्यप, जिला पंचायत सदस्य ओमपुरोहित, डा अनिल शर्मा, सरपंच रतन सिंह कुशवाह द्वारा जलाभिषेक अभियान के उद्देश्य पर प्रकाश देते लोगों से जल संरचनाओं को उपयोगी बनाने के लिए श्रमदान करने आव्हान किया गया। एसडीएम डीआर कुर्रे ने जलाभिषेक अभियान को आज के आवश्यकता बताते हुये बंद पडे सभी जल स्रोतों को पुर्नजीवित करने का आव्हान किया। आपने किसानों से हल्दर योजना के जरिए खेतों की गहरी जुताई करने पर जोर दिया। सम्मेलन में कृषि विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के साथ साथ बलराम तालाब, खेत तालाब एवं अन्य योजना की जानकारी दी गई। जिला पंचायत सदस्य ओमपुरोहित ने जलाभिषेक अभियान की महत्ता की जानकारी देते हुये गांव में सामुहिक रूप से तालाब नदियों की खुदाई करने पर जोर दिया। आपने किसानों को उन्नत कृषि यंत्रों का उपयोग करने और बलराम तालाब योजना का लाभ लेने की सलाह दी।

पानी रोको अभियान से बडा उत्पादन

       बाराकला निवासी छविराम सिंह कुशवाह ने अपने खेत पर पानी रोको अभियान के तहत किये गये उपायो की जानकारी देते हुय बताया कि खेत पर पानी रोकने के कार्य से उनके खेतों  से मिलने वाला उत्पादन बडा है।

 

चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम में जलाभिषेक अभियान शुरू

चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम में जलाभिषेक अभियान शुरू

जल स्रोतो को पुर्नजीवित करने ग्रामीणों को दिलाई शपथ

भिण्ड 5 अप्रैल 2010

       कलेक्टर रघुराज राजेन्द्रन के निर्देशन में भिण्ड जिले में जलाभिषेक अभियान की शुरूआत सोमबार को भिण्ड विकास खण्ड के ग्राम चंदूपुरा एंव बाराकला ग्राम से की गई। इस अवसर पर जलाभिषेक अभियान की आवधारणा को जन जन तक पहुचाने  और इस अभियान को लोगों को आने आने और उन्हें जागरूक बनाने के लिए  तथा जल स्रोतों को पुर्नजीवित करने ग्रामीणों को शपथ दिलाई गई। ग्राम चंदूपुरा में अपर कलेक्टर छोटे सिंह की अगवाई में और ग्राम बाराकला में एसडीएम डीआर कुर्रे की अगुवाई में जलाभिषेक अभियान की गतिविधियॉ शुरू हुई।

       अपर कलेक्टर छोटे सिंह ने चंदूपुरा के ग्रामीणों को जलाभिषेक अभियान के उद्देश्य पर जानकारी देते हुये बताया कि गिरते भू जल स्तर के लिए  जरूरी है कि वर्षा के जल को भू गर्भ में पहुंचाएं जिसके लिये जरूरी है कि ग्राम के सूखे पडे तालाब के नाले  एवं नदियों तथा जलस्रोतों को गहरा किया जाए। इस अभियान को जल सहभागिता के आधार पर करने के लिए ग्राम में निवास करने वाले सभी लोगों का सहयोग जरूरी है। आपने किसानों को खेत पर मेढ बनाने और ग्राम के सार्वजनिक तालाब को गहरा कराने पर जोर दिया। इसीतरह घरेलू उपयोग के पानी की निकासी के लिए घरों के पास सोख्ता गड्डा बनाने पर जोर दिया।

ग्रीष्म में खेतों की गहरी जुताई करें

अपर कलेक्टर छोटे सिंह ने कृषकों को बताया कि ग्रीष्मकाल में खेत को 6 से लेकर 9 इंच तक गहरी जुताई करें। इससे खरपतवार कम होगी और उत्पादन क्षमता में वृद्वि होने के साथ साथ वर्षा के पानी को जमीन में पहुंचाने में मदद मिलेगी। खेतों की जुताई नही होने से मिट्टी में गहरी दरारे पडती है जिसके चलते वर्षा का पहला पानी जमीन में न जाकर बह जाता है। खेतों की गहरी जुताई करने से मिलने वाली फसल में लगभग 25 से 30 प्रतिशत उत्पादन बढती है। आपने कृषकों को सलाह दी ऐसे बडे कृषक जिनके पास 5 हैक्टेयर तक कृषि भूमि है वे पूरी भूमि की गहरी जुताई कराए और ऐसे छोटे छोटे कृषक जिनके पास में कम कृषि भूमि है वे भी भूमि की गहरी जुताई कराए। शासन द्वारा ग्रीष्मकाल में खेत जुताई के लिए वर्तमान में शुरू की गई योजना पर कृषकों को एक हैक्टेयर की जोत पर एक हजार रूपये की सहायता दी जाती है।

घर घर में सोख्ते गड्डे बने

       अपर कलेक्टर ने ग्रामीणों का आव्हान किया कि वे घरेलू पानी के समुचित निकासी के लिए प्रत्येक परिवार घर घर में सोख्ते गड्डे बनाए। उन्होंने कहा कि पानी के समुचित निकासी नही होने से बडी संख्या में मच्छरों का प्रकोप फैलने से मलेरिया रोग फैलता है। जिसके चलते गरीबों को कमाई का अधिकांश हिस्सा बीमारी के उपचार में व्यय करना पडता है जिससे उनकी आर्थिक स्थिति कमजोर होती है। इस समस्या से निजात के लिए जरूरी है कि प्रत्येक व्यक्ति पानी के निकासी के लिए अपने अपने घरों पर सोख्ते गड्डे बनाए। जिससे मच्छर नही फैलेगें और लोग मलेरिया से पीडित भी नही होगें।

 

 

 

शौचालय निर्माण कराने वाले प्रेरक को मिलेगें 100 रूपये

       अपर कलेक्टर ने ग्रामीणों को शौचालय निर्माण की जानकारी देते हुये बताया गया कि शौचालय विहीन परिवारों के यहां शौचालय निर्माण कराने वाले प्रेरक को प्रति शौचालय 100 रूपये की प्रोत्साहन राशि मिलेगी। कोई भी व्यक्ति प्रेरक बन सकता है। इस मौके पर ग्राम के रसीद खॉ शौचालय बनाने के लिए तैयार हुऐ। जलाभिषेक अभियान के सम्मेलन के उपरांत रसीन खॉन के यहा शौचालय निर्माण कराने के लिए गड्डा खनन की कार्यवाही शुरू हुई।

महिलाओं एवं बेटियों को शर्मसार न होने दे

       ग्रामीणों का आव्हान करते हुये कहा कि घर से बाहर दिशा मैदान के लिए महिलाओं एवं बेटियों को पुरूष बाहर नही जाने दे। वे संकल्प ले और व्यक्तिगत उपयोग के लिए घर के निकट ही शौचालय बनवाए। महिलाएं एवं बेटियों को दिशा मैदान के वक्त कई बार शर्मसार होना पडता है। परिवार का मुखिया होने के नाते पुरूषों को घर की महिला एवं बेटियों को शर्मसार नही होने देना चाहिए।

जमीन को पानी रोकने लायक बनाओं

       जल सम्मेलन में बताया गया कि जमीन को पानी रोकने लायक बनाने के लिए ग्राम के सभी कृषक भूमि को पानी रोकने लायक बनाए। जिला प्रशासन द्वारा पानी रोकने लायक बनाए गये खेतों का सर्वे कर आकलन कराया जाएगा।

बाराकला में आयोजित सम्मेलन में

       बाराकला में आयोजित सम्मेलन में डीआर कुर्रे, उप संचालक मनोज कश्यप, जिला पंचायत सदस्य ओमपुरोहित, डा अनिल शर्मा, सरपंच रतन सिंह कुशवाह द्वारा जलाभिषेक अभियान के उद्देश्य पर प्रकाश देते लोगों से जल संरचनाओं को उपयोगी बनाने के लिए श्रमदान करने आव्हान किया गया। एसडीएम डीआर कुर्रे ने जलाभिषेक अभियान को आज के आवश्यकता बताते हुये बंद पडे सभी जल स्रोतों को पुर्नजीवित करने का आव्हान किया। आपने किसानों से हल्दर योजना के जरिए खेतों की गहरी जुताई करने पर जोर दिया। सम्मेलन में कृषि विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के साथ साथ बलराम तालाब, खेत तालाब एवं अन्य योजना की जानकारी दी गई। जिला पंचायत सदस्य ओमपुरोहित ने जलाभिषेक अभियान की महत्ता की जानकारी देते हुये गांव में सामुहिक रूप से तालाब नदियों की खुदाई करने पर जोर दिया। आपने किसानों को उन्नत कृषि यंत्रों का उपयोग करने और बलराम तालाब योजना का लाभ लेने की सलाह दी।

पानी रोको अभियान से बडा उत्पादन

       बाराकला निवासी छविराम सिंह कुशवाह ने अपने खेत पर पानी रोको अभियान के तहत किये गये उपायो की जानकारी देते हुय बताया कि खेत पर पानी रोकने के कार्य से उनके खेतों  से मिलने वाला उत्पादन बडा है।

 

कलेक्टर का निरीक्षण हाईस्कूल बरहद बंद पाया गया

कलेक्टर का निरीक्षण हाईस्कूल बरहद बंद पाया गया

प्रधानाध्यापक को दो वेतन वृद्वि और अन्य अनुपस्थित को  एक-एक वेतन वृद्वि रोकने का नोटिस

भिण्ड 5 अप्रैल 2010

       कलेक्टर रघुराज राजेन्द्रन ने शैक्षणिक गतिविधियों को चुस्त दुरस्त बनाने के लिए सोमबार को मेहगांव विकास खण्ड के बरहद हाईस्कूल का आकस्मिक निरीक्षण किया। निरीक्षण में बरहद हाईस्कूल बंद पाए जाने से शाला के प्रधानाध्यापक को दो वेतनवृद्वि रोकने और अनुपस्थित शिक्षक एवं अन्य कार्यालयीन स्टॉफ को एक-एक वेतनवृद्वि रोकने का नोटिस जारी करने के निर्देश दिये जबकि विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी और संकुल प्राचार्य को शाला बंद पाई जाने के चलते कारण बताओं नोटिस जारी किया गया।